जान जोखिम में डालकर यात्रा करने को मजबूर हैं ग्रामीण
पिथौरागढ़ मुनस्यारी
इसे कहते हैं पहाड़ों में ‘पहाड़ जैसी समस्या।’ यदि आप इस सड़क पर गाड़ी चलाने जा रहे हैं तो अपने दिल पर पत्थर रखकर चलिए। यदि आपका दिल कमजोर है तो आपके लिए यहां गाड़ी चलाना मुश्किल ही नहीं खतरनाक भी साबित हो सकता है। स्थानीय लोगों की तो आदत बन चुकी है इस पर रोजाना आने जाने की, लेकिन मैदानी क्षेत्रों के लोगों का इस सड़क को देखकर रोंगटे खड़े हो जाएंगे। यहां बात हो रही है पिथौरागढ़ जनपद के मुनस्यारी क्षेत्र के एक सड़क की, जहां का हाल जोखिम भरा बना हुआ है।
ये वीडियो पिथौरागढ़ जनपद के मुनस्यारी क्षेत्र के इमला चौना मोटर मार्ग का है। स्थिति क्या है वीडियो देखकर आप स्वयं ही अंदाजा लगा सकते हैं। यानी यहां कोई दुर्घटना या अनहोनी हो गई तो इसका जिम्मेदार कौन होगा? क्या समय रहते इसके लिए जिम्मेदार अधिकारियों को इसका समाधान नहीं करना चाहिए?
एक कहावत है,- “अब पछताए होत क्या जब चिड़िया चुग गई खेत”। अमूमन यहाँ की स्थिति भी ठीक वैसी है। यानी यहां किसी अनहोनी का इंतजार किया जा रहा है! सवाल यह कि तब प्रशासन की मजिस्ट्रियल जांच का क्या औचित्य रहेगा, जब कोई अनहोनी हो जाएगी?
बहरहाल क्षेत्रवासी जान जोखिम में डालकर अपनी रोजमर्रा की जिंदगी चलाने के लिए इस रोड पर वाहनों में यातायात करने को मजबूर हैं। अब देखना यह है कि प्रशासन कब तक इस सड़क की सुध ले पाता है!!
(साभार : हीरा सिंह चिराल )