उत्तराखंड के मुद्दों को लेकर सक्रिय रहने वाले स्वतंत्र पत्रकार Gajendra Rawat ने डीजीपी से लगाई न्याय की गुहार - Mukhyadhara

उत्तराखंड के मुद्दों को लेकर सक्रिय रहने वाले स्वतंत्र पत्रकार Gajendra Rawat ने डीजीपी से लगाई न्याय की गुहार

admin
IMG 20240508 WA0015

बीकेटीसी अध्यक्ष पर प्रताड़ित करने व केदारनाथ के करोड़ों भक्तों की धार्मिक भावना को आहत करने का मुकदमा दर्ज किए जाने की मांग

स्वतंत्र पत्रकार गजेंद्र रावत (Gajendra Rawat)  ने पुलिस महानिदेशक से की न्याय की मांग

देहरादून/मुख्यधारा

उत्तराखंड के जनहित से जुड़ें मुद्दों को लेकर हमेशा सक्रिय रहने वाले स्वतंत्र पत्रकार गजेंद्र रावत (Gajendra Rawat)  ने उनके विरुद्ध बीती एक मई को देहरादून के डालनवाला थाने में धार्मिक भावना आहत करने के मामले में निष्पक्ष और समयबद्ध जांच की मांग की है। बद्रीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के मीडिया प्रभारी डाक्टर हरीश गौड़ द्वारा दर्ज करवाए गए मामले को लेकर गजेंद्र रावत ने उत्तराखंड के पुलिस महानिदेशक को विस्तृत पत्र लिखकर बद्रीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय की भूमिका पर सवाल उठाए हैं। गजेन्द्र रावत ने अपने इस पत्र में हरीश गौड़ के साथ हुए वार्तालाप का विस्तृत ब्यौरा देकर अपने परिजनों के साथ अनहोनी की आशंका भी जताई है।

पत्रकार गजेंद्र रावत (Gajendra Rawat)  द्वारा उत्तराखंड के पुलिस महानिदेशक को दिए गए शिकायती पत्र में कहा गया है कि 1 मई 2024 की रात को एक पत्रकार मित्र द्वारा मुझे फोन से सूचना दी गई कि देहरादून के डालनवाला थाने में मेरे विरुद्ध एक मुकदमा दर्ज हुआ है। 2 मई 2024 की सुबह समाचार पत्रों में खबर छपी हुई थी कि मुझ पर देहरादून के डालनवाला थाने में धार्मिक भावना को आहत करने का मुकदमा दर्ज हुआ है और मुकदमा करने वाले बद्रीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के मीडिया प्रभारी डॉक्टर हरीश गौड़ हैं, जिन्हें मैं जीवन में कभी नहीं मिला, न कभी फोन पर बात हुई थी। प्रथम दृष्टया मेरी समझ में नहीं आया कि बद्रीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के कर्मचारी जो कि कर्मचारी सेवा आचरण नियमावली के अधीन आते हैं, वह चुनाव आचार संहिता लागू रहने के दौरान मुझ पर ऐसा मुकदमा कैसे कर सकते हैं?
जब मैंने अपने ऊपर लिखी एफआईआर पढ़ी तो मुझे आश्चर्य हुआ कि एक सरकारी कर्मचारी कैसे पौड़ी लोकसभा से भाजपा प्रत्याशी अनिल बलूनी, उत्तराखंड के स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत, बद्रीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय का नाम लिखकर मुझ पर मुकदमा करवा दिया है।
मुझ पर हुए इस मुकदमे से समाज में सोशल मीडिया से लेकर अखबारों में प्रतिक्रिया देखने को मिली। इस प्रदेश में मुझे मेरी पत्रकारिता और सामाजिक जुड़ाव के कारण जानने वाले लोगों की चिंता से में बेहद चिंतित हो गया।
अगले दिन 3 मई 2024 को सुबह 8:26 पर मेरे मोबाइल पर एक संदेश आया, जिस पर एक व्हाट्सएप नंबर 9411527992 हरीश गौड़ लिखा था। संदेश 7302257115 नंबर से आया था, मैं समझ नहीं पाया कि व्हाट्सएप नंबर क्यों भेजा गया है। कुछ देर बाद मैने व्हाट्सएप चेक किया तो 9411527992 नंबर से हिंदी में हरीश गौड़ लिखा देखा, मैंने रिप्लाई में लिखा “आप क्या करते हैं” कोई जवाब नहीं मिला। फिर मैंने अनुमान लगाया कि ये मुझ पर मुकदमा करने वाले सज्जन डाक्टर हरीश गौड़ हो सकते हैं।
मैंने 8:35 पर उक्त नंबर पर कॉल की, तब मेरी बीकेटीसी के मीडिया प्रभारी हरीश गौड़ से लंबी बातचीत हुई। हरीश गौड़ ने मुझे बताया कि उनके द्वारा जो मुकदमा मुझ पर करवाया गया है, वह बद्रीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय के कहने पर करवाया गया है। उन्होंने बताया कि अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने दबाव डालकर उनसे यह काम करवाया और मुकदमा न करने पर नौकरी जाने की धमकी दी। हरीश गौड़ ने यह भी बताया कि इससे पहले अजेंद्र अजय उन्हें कई महीने बाहर बैठा चुके हैं। हरीश गौड़ की बात सुनकर मेरी समझ में आया कि किस प्रकार मेरे विरुद्ध एक कुचक्र रचकर साजिश की गई है, मेरी छवि, मेरी मान प्रतिष्ठा धूमिल की गई है, समाज में मुझे नीचे दिखाने के लिए यह प्रपंच किया गया है। हरीश गौड़ को मोहरा बनाया गया है। हरीश गौड़ ने बताया कि अजेंद्र अजय ने उन्हें विभागीय मुकदमा बताकर दबाव डाला था। अजेंद्र अजय ने बोला था कि या तो नौकरी करो या कहना मानो, यह मुकदमा हर हाल में तुम्हारी तरफ से होगा।

हरीश गौड़ द्वारा यह भी बताया गया कि उन्होंने अजेंद्र अजय से कहा कि यह मुकदमा भाजपा वाला देगा या सीईओ बीकेटीसी देगा, लेकिन अजेंद्र अजय ने दबाव डालकर कहा कि यह तुम्हें करना होगा। मुझे डेढ़ दो बजे बुलाया गया, कागज पकड़ाया गया। सोमवार को पीए का फोन आया कि अध्यक्ष जी कह रहे हैं कि हर हाल में यहां आओ, मैंने जाते ही दस्तखत किए, पढ़ा भी नहीं क्या लिखा है? हरीश गौड़ ने मुझे बताया कि पेटीएम वाले मामले में भी मंदिर समिति के नाम से मुकदमा किया गया, बाद में पेटीएम मंदिर समिति का ही निकला, मुकदमा किसी और पर हो गया। उस वक्त अनिल ध्यानी के नाम से मुकदमा करवाया गया था। जो हरीश गौड़ मुकदमे में भाजपा प्रत्याशी अनिल बलूनी का नाम कोड कर रहे थे, वही फोन पर बता रहे थे कि वह अनिल बलूनी को जानते तक नहीं, न कभी बलूनी को देखा है।

हरीश गौड़ ने एक और गंभीर बात बताई कि स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत उनके विरोध में रहते हैं। अब जो व्यक्ति मेरे विरुद्ध मुकदमें में स्वास्थ्य मंत्री धन सिंह रावत का नाम लिखते हो और फोन पर उनके बारे में इस प्रकार की बातें बता रहे हो, समझा जा सकता है कि हरीश गौड़ पर किस प्रकार दबाव डाला गया होगा? हरीश गौड़ ने बताया कि अजेंद्र अजय ने 5 महीने पहले उन्हें काम से हटाया हुआ था, जबकि यह सरकारी पोस्ट है। समिति के एक और कार्मिक राकेश सेमवाल को भी सस्पेंड किया था। गौड़ ने बताया कि मुकदमा सरकार के दबाव में हुआ है। मुकदमा मेरे नाम से मंदिर समिति ने दबाव डालकर करवाया। हरीश गौड़ ने बताया कि उनकी इस संदर्भ में एसपी से भी बात हुई थी और एसपी साहब ने उन्हें बताया था कि यह मामला नहीं बनता। इसी प्रकार की तमाम बातें हरीश गौड़ द्वारा बताई गई, जिससे स्पष्ट हुआ कि किस प्रकार बद्रीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने साजिशन मुझे डराने, मेरी प्रतिष्ठा को ठेस पहुंचाने, लोकतंत्र के चौथे स्तंभ पत्रकारिता पर अंकुश लगाने, मेरी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को छीनने के लिए यह झूठा मुकदमा मुझ पर करवाया है।

गजेंद्र रावत (Gajendra Rawat)  ने पत्र में आगे लिखा है कि मैं वर्ष 2001 से लगातार पत्रकारिता कर रहा हूं, पत्रकार व प्रदेश का जिम्मेदार नागरिक होने के नाते मेरे द्वारा हमेशा जनहित के सवाल सड़क से लेकर टीवी चैनलों, यू ट्यूब चैनलों, शोशल मीडिया के माध्यम से उठाए जाते रहे हैं। ऐसा करना पत्रकारिता धर्म है। लेकिन जिस प्रकार बीकेटीसी के अध्यक्ष द्वारा यह कृत्य किया गया, यह वास्तव में बहुत बड़ा षड्यंत्र प्रतीत होता है। विगत वर्ष 18 मई 2023 को बदरीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के सदस्यों ने मुख्यमंत्री से मिलकर जो आरोप अध्यक्ष अजेंद्र अजय पर लगाए, उससे करोड़ों केदार भक्तों की भावना को ठेस पहुंची कि अध्यक्ष बाबा केदार के धाम में ऐसे काम करवा रहे हैं। तीर्थ पुरोहितों द्वारा जिस प्रकार केदारनाथ के गर्भ गृह में लगे सोने का पीतल होने के वीडियो जारी किए गए, वो देश – दुनिया में प्रसारित हुए। उससे करोड़ों भक्तों के साथ मेरी भी धार्मिक आस्था आहत हुई है।
उन्होंने कहा कि अजेंद्र अजय पर मुझे प्रताड़ित करने व केदारनाथ के करोडों भक्तों की धार्मिक भावना को आहत करने का मुकदमा दर्ज किया जाना चाहिए। मेरी प्रतिष्ठा को ठेस पहुंची है।

उन्होंने अनुरोध करते हुए कहा है कि मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय, जिन पर केदारनाथ के तीर्थ पुरोहितों, मंदिर समिति के सदस्यों ने बोर्ड की बैठकों के विपरीत काम करने का आरोप लगाया गया है। जिन पर मंदिर समिति के 10 करोड रुपए सरकार को देने के आरोप लगे हैं। अपने सगे भाई को नियम विरुद्ध बद्रीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति में फायदा पहुंचाने का आरोप लगा है। जिन पर हेली सर्विस से मंदिर समिति को करोड़ों का नुकसान पहुंचाने का आरोप है, के विरुद्ध सुसंगत धाराओं में मुकदमा दर्ज किया जाय।

गजेंद्र रावत (Gajendra Rawat)  ने लिखा है कि मुझे आशंका है कि उनके साथ इस साजिश में और लोग भी शामिल हो सकते हैं। मैं इनकी गंभीर जांच की मांग करता हूं। इनके फोन कॉल डिटेल्स से लेकर इनकी तमाम लोकेशन की जांच की मांग की है। केदारनाथ में पंडा पुरोहितों के सोने से पीतल वाले आरोप, अजेंद्र अजय के कार्यकाल में अभी तक हुए सभी कामों की निष्पक्ष जांच की भी मांग की है।
गजेंद्र रावत ने लिखा है कि अजेंद्र अजय के बारे में जो बातें हरीश गौड़ ने बतायी है, उसे देखते हुए मुझे आशंका है कि वो भविष्य में मुझे व मेरे परिवार, बच्चों को हानि पहुंचा सकते हैं। यदि मेरे किसी परिजन के साथ कोई घटना होती है तो उसकी जिम्मेदारी बद्रीनाथ – केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय की होगी।

IMG 20240508 WA0014 IMG 20240508 WA0016 IMG 20240508 WA0017

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Next Post

एसजीआरआरयू की एग्रीक्लचर साइंसेज़ की फैकल्टी Shalini Sharma को बीएचयू पीएचडी प्रवेश परीक्षा में प्रथम स्थान

एसजीआरआरयू की एग्रीक्लचर साइंसेज़ की फैकल्टी शालिनी शर्मा (Shalini Sharma)  को बीएचयू पीएचडी प्रवेश परीक्षा में प्रथम स्थान देहरादून/मुख्यधारा श्री गुरु राम राय विश्वविद्यालय की स्कूल आफ एग्रीकल्चरल साइंसेज़ की असिस्टेंट प्रोफेसर शालिनी शर्मा (Shalini Sharma)  ने बनारस हिन्दु विश्वविद्यालय […]
IMG 20240508 WA0019

यह भी पढ़े