उत्तराखण्ड प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने किया राहुल गांधी से पुनः राष्ट्रीय अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी संभालने का आग्रह
एकजुट कांग्रेस प्रदेश व देश की जनविरोधी भाजपा सरकारों के खिलाफ करेगी व्यापक आन्दोलन
देहरादून। उत्तराखण्ड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष प्रीतम सिंह की अध्यक्षता में आहूत प्रदेश उपाध्यक्षों की 5 घंटा चली मैराथन बैठक में पार्टी के प्रदेश नेतृत्व ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर राहुल गांधी से पुनः पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी संभालने का आग्रह का प्रस्ताव सर्वसम्मति से पारित करते हुए केन्द्र व राज्य की भाजपा सरकारों की जन विरोधी नीतियों के विरुद्ध प्रदेेशव्यापी आन्दोलन चलाने की रणनीति पर विस्तार से चर्चा की गई।
बैठक में सर्वसम्मति से केन्द्र सरकार द्वारा पेट्रोल, डीजल, रसोई गैस की कीमतों में की जा रही बेतहाशा बढोतरी को तत्काल वापस लेने तथा राज्य सरकार द्वारा प्रदेश में परिवहन विभाग की बसों समेत अन्य परिवहन के साधनों के किराये में की गई बढोतरी को तत्काल वापस लेने की मांग का प्रस्ताव पारित करते हुए सरकार को चेतावनी दी। ऐसा न होने पर प्रदेश कांग्रेस का केन्द्र व राज्य सरकार के खिलाफ चल रहा आन्दोलन और व्यापक किया जायेगा।
बैठक में सर्वसम्मति से राज्य की बंद पड़ी जनपद उत्तरकाशी की लोहारी-नागपाला जल विद्युत परियोजना एवं मनेरी-भाली परियोजना के साथ-साथ अन्य ठप्प पडी जल विद्युत परियोजनाओं पर तत्काल कार्य शुरू करवाने की मांग का प्रस्ताव भी पारित हुआ। बैठक का संचालन प्रदेश उपाध्यक्ष सूर्यकान्त धस्माना ने किया।
बैठक में अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने प्रदेश सरकार पर हमला करते हुए कहा कि पिछले साढ़़े तीन साल से राज्य में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी की त्रिवेन्द्र सरकार जन अपेक्षाओं पर हर मोर्चे पर विफल रही है। उन्होंने कहा कि आज जब पूरा देश व राज्य वैश्वविक महामारी कोरोना से पीड़ित है, ऐसे में राज्य के मुख्यमंत्री व उनके मंत्रिमण्डलीय सहयोगी पिंजरे में कैद हैं और परेशान जनता की आवाज सुनने वाला कोई नहीं है। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार से लाॅकडाउन के साढे तीन महीनों में जनता ने परेशानियों का सामना किया, उसको राज्य की जनता कभी नहीं भुला पायेगी।
प्रीतम सिंह ने कहा कि राज्य के कांग्रेसजनों ने इस संकट की घड़़ी में जनता के बीच जाकर पके हुए भोजन, कच्चा राशन, मास्क, सैनिटाइजर, ग्लब्स आदि जरूरतमंद लोगों मे वितरित कर सराहनीय कार्य किया। उन्होंने कहा कि जो बड़ी संख्या में प्रवासी उत्तराखण्ड वापस आये हैं, उनकी कोई सुध लेने वाला नहीं है। राज्य सरकार को उनके पुनर्वास व रोजगार के सम्बन्ध में ठोस निर्णय लेकर उनकी सहायता करनी चाहिए।
देश में पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतों पर बोलते हुए प्रीतम सिंह ने कहा कि एक ओर दुनियाभर में कच्चे तेल की कीमतें अपनी न्यूनतम स्तर पर हैं।
दूसरी ओर भारत में सरकार लगातार पेट्रोल, डीजल व रसोई गैस की कीमतें बढ़ाने में लगी हुई है। उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया में पेट्रोल व डीजल में सबसे अधिक एक्साईज टैक्स भारत में है। प्रीतम सिंह ने प्रदेश कांग्रेस के उपाध्यक्षगणों से आग्रह किया कि वे प्रदेश की जन विरोधी भाजपा सरकार के विरुद्ध छेड़े गये आन्दोलन को गांव-गांव, गली-गली पहुंचाने के लिए स्वयं मैदान में निकलें।
बैठक को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री एवं पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री हरीश रावत ने कहा कि पूरी पार्टी एकजुट होकर प्रीतम सिंह के नेतृत्व में भाजपा सरकारों की जन विरोधी नीतियों के खिलाफ संघर्ष तेज करेगी।
उन्होंने पार्टी नेताओं से आग्रह किया कि वे किसी भी प्रकार के आपसी मतभेद को मिल बैठ कर सुलझाने का काम करें व जनता के सवालों पर जब हम संघर्ष पर निकलें तो पूरी ताकत और एकजुटता के साथ निकलें। उन्होंने कहा कि उनका पूरा सहयोग व मार्गदर्शशन पार्टी को हमेशा मिलता रहेगा।
नेता प्रतिपक्ष डाॅ0 इन्दिरा हृदयेश ने का कि प्रदेश की जनता वर्तमान त्रिवेन्द्र सरकार से आजिज आ चुकी है और कांग्रेस को वापस राज्य के विकास के लिए सत्ता में लाना चाहती है।
पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय ने कहा कि आने वाले दिनों में जब कांग्रेस अपना संघर्ष तेज करेगी तब प्रदेश की सरकार जो लगातार कांग्रेस नेताओं पर झूठे मुकदमे कायम कर रही है वो पूर्वाग्रह से ग्रसित होकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं पर उत्पीड़नात्मक कार्रवाई कर सकती है।
प्रदेश उपाध्यक्ष गणेश गोदियाल ने कहा कि आज की बैठक पूरे प्रदेश के कांग्रेस कार्यकर्ताओं में एक नई ऊर्जा का संचार करेगी। उन्होंने कहा कि प्रदेष के सभी कार्यकर्ता चाहते हैं कि राज्य की पूरी लीडरशिप इसी प्रकार से एक होकर जनता की लड़़ाई लड़़े।
बैठक में प्रीतम सिंह, पूर्व मुख्यमंत्री एवं कांग्रेस के रााष्ट्रीय महासचिव हरीश रावत, नेता प्रतिपक्ष डाॅ0 श्रीमती इन्दिरा हृदयेश, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय, प्रदेश उपाध्यक्ष रणजीत सिंह रावत, डाॅ महेन्द्र पाल सिंह, विजयपाल सजवाण, विक्रम सिंह नेगी, गणेश गोदियाल, रामयश सिंह, सूर्यकान्त धस्माना, जोत सिंह बिष्ट, आर्येन्द्र शर्मा, हेेमंत बगड़वाल, सरोजनी कैन्त्यूरा, सरदार नरेन्द्रजीत सिंह बिन्द्रा एवं नारायण पाल ने प्रतिभाग किया।