- बजट सत्र : उत्तराखंड का बजट सत्र आज से, धामी सरकार बजट के साथ महत्वपूर्ण विधेयक भी करेगी पेश, विपक्ष भी घेरेगा
देहरादून/मुख्यधारा
आज से उत्तराखंड का बजट सत्र शुरू होने जा रहा है। राजधानी देहरादून में स्थित विधानसभा में यह सत्र आयोजित होगा। सत्र को लेकर विधानसभा के आसपास पुलिस ने सुरक्षा कड़ी कर दी है। इस सत्र में बजट के साथ धामी सरकार महत्वपूर्ण विधेयक पेश करेगी। विधानसभा में दो विधेयक और तीन अध्यादेश भी पेश होंगे।
उत्तराखंड विधानसभा का बजट सत्र मंगलवार सुबह 11 बजे से राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह के अभिभाषण के साथ शुरू होगा। 19 फरवरी को राज्यपाल के अभिभाषण चर्चा पर धन्यवाद प्रस्ताव पास होगा।
20 फरवरी को 12:30 बजे वित्त मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल बजट पेश करेंगे। इस बार सदन में सत्ता पक्ष और विपक्ष के विधायक के द्वारा 521 प्रश्न भी लगाए गए हैं। इस सत्र में सरकार का बजट 20 फरवरी को पेश किया जाएगा जिसका आकार एक लाख करोड़ रुपये से अधिक रहने का अनुमान है।
इस बार सदन में सत्ता पक्ष और विपक्ष के विधायक के द्वारा 521 प्रश्न भी लगाए गए हैं। सदन में दो विधेयक में तीन अध्यादेश भी पेश किए जाएंगे। जिनमें उत्तराखंड नगर निकायों एवं प्राधिकरणों के लिए विशेष प्रावधान संशोधन विधेयक 2025, उत्तराखंड निक्षेपक जमाकर्ता हित संरक्षण निरसन विधेयक 2025 शामिल है, जबकि उत्तराखंड राज्य क्रीड़ा विवि अध्यादेश 2024, उत्तराखंड नगर निकायों एवं प्राधिकरण के लिए विशेष प्रावधान संशोधन अध्यादेश और उत्तराखंड (उत्तर प्रदेश नगर निगम अधिनियम 1959) द्वितीय संशोधन अध्यादेश 2024 पेश होंगे।
बजट सत्र में कांग्रेस ने कई मुद्दों पर धामी सरकार को घेरने की बनाई रणनीति
उत्तराखंड विधानसभा के बजट सत्र में सरकार को घेरने के लिए विपक्ष ने रणनीति बनाई है। मूल निवास, भू-कानून, स्मार्ट मीटर, भ्रष्टाचार, कानून व्यवस्था और स्वास्थ्य-शिक्षा से जुड़े मुद्दों पर विपक्ष सदन में सत्ता पक्ष को घेरेगा। सत्र की अवधि बढ़ाए जाने को लेकर भी विपक्ष सरकार पर दबाव बनाएगा।
सोमवार को न्यू कैंट रोड स्थित नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य के आवास पर कांग्रेस विधानमंडल दल की बैठक हुई। जिसमें जनहित से जुड़े मुद्दों को सदन में उठाने के लिए पार्टी विधायकों ने अपने-अपने क्षेत्र की समस्याओं को रखा। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि विपक्ष की तरफ से लगातार सरकार से मांग की जा रही है कि सत्र की अवधि बढ़ाई जाए।
बजट सत्र पहली बार ई-नेवा (नेशनल ई विधान एप्लीकेशन) के अंतर्गत संचालित हो रहा है। सभामंडप में सभी मंत्री, विधायकों की टेबल पर टैब लगाए गए हैं। एजेंडा, प्रश्नोत्तर और बजट उन्हें इसमें उपलब्ध होगा।
इससे पहले विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी ने दलीय नेताओं के साथ बैठक कर सदन को सुचारू रूप से संचालित करने में सहयोग की अपेक्षा की। विपक्ष की ओर से राज्य और राज्य वासियों के हित में उठाए जाने वाले विषयों पर सहयोग का आश्वासन दिया गया।
विधानसभा अध्यक्ष खंडूड़ी ने कहा कि विकास से जुड़े विषयों पर सारगर्भित व गुणवत्तापूर्ण चर्चा के लिए सभी सदस्यों का सहयोग अपेक्षित है। उधर, कांग्रेस विधानमंडल दल की बैठक में सत्र के लिए रणनीति तय की गई।
विधानसभा के 300 मीटर की परिधि में धारा-163 लागू
(अन्तर्गत धारा-163 भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता)
उत्तराखण्ड विधानसभा का वर्ष 2025 का प्रथम/आयव्ययक अधिवेशन दिनांक 18.02.2025 (मंगलवार) से आरम्भ होने जा रहा है। इस दौरान विभिन्न संगठनों तथा समुदायों द्वारा प्रदर्शन, धरना, अनशन एवं अन्य प्रकार की गतिविधियों के कारण शान्ति व्यवस्था प्रतिकूल रूप से प्रभावित होने की पूर्ण सम्भावना है। अतः विधान सभा परिसर के चारों ओर 300 मीटर की परिधि में शान्ति व्यवस्था कायम रखने हेतु धारा-163 भा०ना०सु०सं० लगाया जाना आवश्यक है।
समयाभाव के दृष्टिगत द्वित्तीय पक्ष को बिना सुने ही विधि एवं कानून व्यवस्था बनाये रखने हेतु भा०ना०सु०सं० की धारा-163 के अन्तर्गत तात्कालिक प्रभाव से निग्न आदेश पारित किया जाता हैः-
1. उक्त क्षेत्रान्तर्गत कोई भी व्यक्ति अग्नेयास्त्र, लाठी, हॉकी, स्टिक, तलवार अथवा अन्य कोई तेज धार वाला अस्त्र जिसका फल ढ़ाई इंच से अधिक होने, बम और किसी अन्य प्रकार की बारूद वाले अस्त्र जिसका प्रयोग हिंसा के लिए किया जाता हो, लेकर नहीं चलेगा और न ही कोई हिंसा के प्रयोग हेतु ईंट, पत्थर रोड़ा आदि एकत्र करेगा। कोई भी व्यक्ति अपने घर के आँगन के अतिरिक्त पटाखों एवं बारूद से बने किसी भी वस्तु का प्रयोग सड़क पर, गली पर व चौराहे पर नहीं करेगा। शस्त्र अथवा लाठी लेकर चलने का प्रतिबन्ध ड्यूटी पर कार्यरत राजकीय सेवकों च ऐसे विकलांग जिनके लिये लाठी का सहारा आवश्यक है, पर लागू नहीं होगा।
2. उक्त क्षेत्रान्तर्गत किसी भी प्रकार की नारेबाजी, लाउडस्पीकर का प्रयोग सरकारी इमारतों पर नारे लिखना, साम्प्रदायिक भावना भड़काने वाले उत्तेजक भाषण करना, किसी प्रकार के भ्रामक साहित्य के प्रचार-प्रसार आदि को भी प्रतिबन्धित किया जाता है।
3. उक्त क्षेत्रान्तर्गत किसी भी सार्वजनिक स्थान पर, चौराहे पर अथवा अन्य जगह पाँच या उससे अधिक व्यक्ति एकत्र नहीं होंगे तथा किसी भी प्रकार के समूह में बसों, ट्रैक्टर, ट्रॉलियों अथवा दोपहिये वाहनों तथा चौपहिया बाहनों के जुलूस की शक्ल में एकत्र होने पर प्रतिबन्ध लगाया जाता है। किसी भी प्रकार के जुलूस / प्रदर्शन सार्वजनिक सभा का आयोजन बिना पूर्व अनुमति के नहीं किया जायेगा।
4.कोई भी व्यक्ति राजकीय सम्पत्ति को किसी प्रकार की प्रत्यक्ष अथवा अप्रत्यक्ष रूप से क्षति नहीं पहुँचायेगा। उक्त आदेश इस आशय से निर्गत किये जा रहे हैं कि शान्ति व्यवस्था अथवा आपसी सामंजस्य बनाये रखने हेतु कोई भी अवांछनीय तरच कोई गैर जिम्मेदार हरकत न कर सके तथा जनपद में उक्त क्षेत्रान्तर्गत कानून एवं शान्ति व्यवस्था कायम रह सके। चूँकि उक्त आदेश की तामीली सभी व्यक्तियों/ पक्षों पर सम्यक रूप से किया जाना सम्भय नहीं है, अतः जनहित में एकपक्षीय आदेश पारित किये जाते हैं। उक्त आदेश दिनांक 18.02.2025 से विधान सभा सत्र की समाप्ति तक प्रभावी रहेगा, यदि इससे पूर्व इनको अपास्त न कर दिया जाये। आदेश का उल्लंघन भा०न्या०सं० की धारा-223 के अधीन दण्डनीय होगा।
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