Dhanteras 2023 : धनतेरस पर पांच योगों का बना महासंयोग, सजा बाजार, खरीदारी के लिए लोग तैयार, आज से दीपावली का उत्सव शुरू
देहरादून/मुख्यधारा
आज देशभर में धनतेरस का पर्व मनाया जा रहा है। इसके साथ आज से ही दीपावली का उत्सव भी शुरू हो गया है। धनतेरस पर बाजार सज चुका है। लोग खरीदारी के लिए तैयार हैं। बाजारों में सुबह से ही चहल-पहल शुरू हो गई है। इस दिन धन की देवी लक्ष्मी और कुबेर की पूजा करके घर परिवार में सुख समृद्धि और धन की कामना की जाती है।
धनतेरस पर लोग पूजा-अर्चना व खरीदारी करते हैं। धनतेरस पर सबसे शुभ मुहूर्त रहेगा। धनतेरस पर 4 राजयोग और एक 1 शुभ योग बन रहा है। इस तरह 5 योगों का महासंयोग 10 नवंबर को रहेगा। धनतेरस पर वैसे भी सोना-चांदी और बर्तन खरीदने की परंपरा रही है। जो योग रहेंगे उनमें शुक्ल, ब्रह्म, इंद्र, स्थिर, प्रीति, आयुष्मान, सौभाग्य, दामिनी, उभयचरी, वरिष्ठ, सरल, शुभकर्तरी गजकेसरी और सर्वार्थसिद्धि योग शामिल हैं।
दिवाली पूजा के लिए लक्ष्मी-गणेश की मूर्ति की खरीदारी धनतेरस के दिन खरीदना शुभ माना जाता है। इस दिन मूर्ति खरीदने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है। इसके साथ ही माना जाता है कि इस दिन मूर्ति खरीदने से मां लक्ष्मी का पैर आपके घर पड़ता है, जिससे साल भर सुख-समृद्धि, धन-संपदा की प्राप्ति होती है। हालांकि अगर आप धनतेरस से लेकर दिवाली तक गणेश-लक्ष्मी की मूर्ति खरीद सकते हैं। समुद्र मंथन से निकले भगवान धन्वंतरि के हाथ में अमृत कलश सोने का था , इसलिए बर्तन और सोना खरीदने की परंपरा शुरू हुई। आर्थिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए बाद में चांदी और अन्य धातुओं की खरीदी होने लगी। तब से परिवार में समृद्धि की कामना से इस दिन चांदी के सिक्के, गणेश व लक्ष्मी जी की मूर्तियां और ज्वेलरी की खरीदारी की जाती है। साथ ही पीतल, कांसे, स्टील व तांबे के बर्तन भी खरीदने की परंपरा है।
स्कंद पुराण के मुताबिक, धनतेरस पर यम देव के लिए दीपदान करने से परिवार में बीमारी नहीं आती और अकाल मृत्यु का डर भी नहीं रहता। इसके लिए आटे का दीपक बनाएं। उसे सरसों या तिल के तेल से भरें। सूरज डूबने के बाद यमराज के लिए घर के बाहर दक्षिण दिशा में रखें। ऐसा करते हुए यमराज से परिवार की लंबी उम्र की कामना करनी चाहिए।
ज्योतिषाचार्य के अनुसार पांच दिनों का दीपावली महापर्व इस वर्ष छह दिनों का होगा। इस बार तिथियों के भुग्त भोग्य यानि घटने बढ़ने के कारण दीपावली का पर्व 6 दिनों का होगा। इस बार दीपावली महापर्व की शुरुआत शुक्रवार धनतेरस से होगी।
छोटी दीपावली या रूप चौदस रविवार 12 नवंबर 2023 और दीपावली रविवार 12 नवंबर, अन्नकूट व गोवर्धन पूजा मंगलवार 14 नवंबर और भैयादूज बुधवार 15 नवंबर के साथ ही इस महापर्व का सामापन हो जाएगा।