ऋषिकेश : मूल निवासी निर्दलीय दिनेश चन्द्र मास्टरजी की जोरदार एंट्री देख भाजपा-कांग्रेस के माथे पर पड़े बल, दोनों दलों ने बाहरी प्रत्याशियों को दिया है टिकट

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ऋषिकेश : मूल निवासी निर्दलीय दिनेश चन्द्र मास्टरजी की जोरदार एंट्री देख भाजपा-कांग्रेस के माथे पर पड़े बल, दोनों दलों ने बाहरी प्रत्याशियों को दिया है टिकट

सभी से मास्टरजी के पक्ष में लामबंद होने का किया आह्वान

ऋषिकेश/मुख्यधारा

नगर निगम ऋषिकेश में लगता है मेयर पद के लिए बाहरी प्रत्याशियों को टिकट देकर भाजपा-कांग्रेस ने बड़ी भूल कर दी है। वहीं स्थानीय मूल निवासियों की अनदेखी के चलते दोनों दलों के प्रति मतदाताओं की नाराजगी साफ देखी जा रही है। उधर गढ़वाल स्थित संगम नगरी देवप्रयाग के लाल दिनेश चन्द्र मास्टरजी निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में नामांकन कराकर ऋषिकेश नगर निगम क्षेत्र में जोरदार एंट्री की है। इससे भाजपा कांग्रेस के लिए कड़ी चुनौती खड़ी हो गई है।

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निकाय चुनावों में ऋषिकेश नगर निगम में लगभग 80% भागीदारी तय करने वाले पहाड़ी मूल के मतदाताओं की उपेक्षा करते हुये दोनों ही राष्ट्रीय दलों ने बाहरी प्रत्याशियों को वरीयता देकर बहुत बड़ी चूक कर अपने ही पाँव में कुल्हाड़ी मारने का काम किया है।

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सामाजिक कार्यकर्ता व निवर्तमान क्षेत्र पंचायत सदस्य बूंगा यमकेश्वरवासी पूर्व सैनिक सुदेश भट्ट मुख्यधारा को बताते हैं कि ऋषिकेश के पंचायत से लेकर लोकसभा तक के चुनाव यहाँ के मूल निवासी ही तय करते हैं, लेकिन जिस तरह राष्ट्रीय दलों ने पहाड़ी मूल के प्रत्याशियों की अनदेखी की है, उससे पूरा पहाड़ी समुदाय आक्रोशित हैं। और पहाड़ के लोगों ने इसे अपनी अस्मिता व प्रतिष्ठा से जोड़ते हुये अपने ही पहाड़ के मूल निवासी दिनेश चंद्र मास्टर को जनता के टिकट पर मैदान में उतारकर दोनों ही राष्ट्रीय दलों को खुली चुनौती दी है।

सुदेश भट्ट ने यह भी बताया कि ऋषिकेश के चुनावों में यमकेश्वर क्षेत्र की एक बहुत बड़ी व निर्णायक भागीदारी रहती है, लेकिन राष्ट्रीय दलों द्वारा यमकेश्वर के मूल निवासियों को पार्षद तक के टिकट न देकर या टिकट देने के बाद नामांकन कराने व फिर नकार देने से भी स्थानीय लोगों में भारी आक्रोश है और जिसके लिये यमकेश्वरवासी निकाय चुनाव में जनता पर थोपे गये बाहरी प्रत्याशियों को सबक़ सिखाने का मन बना चुकी है।

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पूर्व सैनिक ने राष्ट्रीय दलों के समर्थकों द्वारा फ़ेस बुक पर स्थानीय मूल निवासियों को खुली चुनौती देने वाला स्क्रीन शौर्ट भी मीडिया को उपलब्ध कराया, जिसकी उन्होंने कड़ी निंदा करते हुये मूल निवासियों की भावनाओं को आहत करने व सत्ता के नशे में चूर अहंकार बताया और उन्होंने ऋषिकेश में राष्ट्रीय दलों में बैठे उन पहाड़ी पदाधिकारियों को जो मूल निवासी प्रत्याशी के खिलाफ बाहरी प्रत्याशी के पक्ष में वोट माँग रहे हैं, मास्टर जी के पक्ष में लामबंद होने का आह्न किया। उन्होंने स्थानीय जनता से आह्न किया कि आगे से पंचायत से लेकर किसी भी चुनाव में ऐसे नेताओं को अभी से चिह्नित किया जाये व पहाड़ी प्रत्याशी के विरुद्ध षड्यंत्र रचने वाले ऐसे नेताओं को पंचायत से लेकर आगे होने वाले किसी भी चुनाव में पहाड़ी समुदाय सबक़ सिखाने व हराने का काम करेगा, जो पहाड़ का नहीं, पहाड़ी भी उसका नहीं।

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