Header banner

पुरोला से बिहार के चार दर्जन मजदूर रात के अंधेरे में पैदल ही लगे रास्ते। पुलिस ने वापस भेजा राहत कैम्प में

admin
IMG 20200507 WA0016

मजदूरों के सब्र का बांध टूटा। बाहरी राज्यों के मजदूर पैदल ही चल पड़े घर को, रास्ते में पुलिस ने नौगांव में रोक कर वापस किया राहत कैम्प में         

नीरज उत्तराखंडी/पुरोला           

बृहस्पतिवार को स्थानीय प्रशासन द्वारा बिहार के 4 दर्जन से अधिक दैनिक मजदूरों को नौगांव पुलिस चौकी से वापस पुरोला लाया गया, जो पैदल ही रात को बिहार के लिए चल पड़े थे।

बताते चलें कि पुरोला क्षेत्र में लगभग 4 सौ से अधिक उत्तर प्रदेश व बिहार के दैनिक मजदूर काम करते हैं, जो कोरोना वैश्विक महामारी के चलते हुए लॉकडाउन के कारण बेरोजगार हो गए हैं। कोई निर्माण कार्य नहीं चल रहा है। जिनके साथ भवनों आदि निर्माणाधीन कार्यो में ये मजदूर काम कर भी रहे थे, अधिकतर लोगों ने आर्थिक तंगी के कारण निर्माण कार्य खुलने के बाद भी लोग निर्माण सामग्री की मंहगाई से रुचि नहीं ले रहे हैं और यह अधिकांश मजदूर निर्माण कार्यो में ही मजदूरी करते हैं। जिसके कारण इन दैनिक मजदूरों के सामने रोजी-रोटी का संकट गहराने लगा है।

IMG 20200507 WA0014

तीसरे चरण के लॉकडाउन से और इनके हाथों का काम छिन जाने से इनके सब्र का बांध भी अब टूटता दिख रहा है, जो आज इनके पैदल ही छुपकर जाने से स्पष्ट हो रहा है कि हजारों किमी की दूरी तय करने यह लोग पैदल ही रास्ते लग गए।

बेतिया बिहार के मजदूर चौकट आलम, रसीद आलम, खुश मोहम्मद, अनवर, सहीद मियां आदि का कहना है कि हम लोगों को काम नहीं मिल रहा है। कोई भी निर्माण कार्य नहीं करवाना चाह रहे हैं।

प्रशासन की तरफ से जो राशन मिल रहा है, उससे भी पूरा गुजारा नही होता है। आखिर कब तक बिना काम करे बैठे रहेंगे। अपने पास भी जो कुछ कमाया पैसा था खत्म हो गया, इसलिए बस अब हमें अपने घर पहुंचने के सिवाय कोई और रास्ता नहीं है। उन्होंने प्रशासन से जल्दी  घर पहुंचाने की भी गुहार लगाई।

 

IMG 20200507 WA0015

उपजिलाधिकारी आईएएस मनीष कुमार ने बताया कि यह लोग रात को ही छुप कर पुरोला से पैदल चल पड़े, जिन्हें नौंगांव में रोका गया। वापसी लाकर इन्हें खाना खिला दिया गया और राशन के किट भी वितरित किये गए। इनको भेजने की प्रक्रिया गतिमान है। ट्रेन की व्यवस्था होने के बाद ही इनको यहां से भेजा जाएगा।

यह भी पढ़ें : दु:खद खबर : टिहरी जनपद में 15 दिन के भीतर दूसरी विवाहिता की संदिग्ध मौत। डेढ़ साल की नन्हीं बच्ची छोड़ गई

यह भी पढ़ें : उत्तराखण्ड के सीनियर जर्नलिस्ट ने बताई ई-पास की कड़वी सच्चाई। गृह विभाग और डीजीपी से व्यवस्था को ठीक करने की मांग

Next Post

उत्तराखंड कैबिनेट के फैसले। शराब व पेट्रोल-डीजल महंगे

देहरादून। कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से उबरने के लिए उत्तराखंड कैबिनेट ने शराब पर कोविड टैक्स लगाने का फैसला लिया है। अब प्रदेश में शराब २० रुपए से लेकर २०० रुपए तक महंगी हो जाएगी। अब देशी शराब पर २० […]
secretariat 2

यह भी पढ़े