मोरी ब्लॉक : यहां मंदिर में प्रवेश करने पर जलते अंगारों से दाग दिया अनु.जाति के युवक Ayush का शरीर, पांच लोगों पर मुकदमा दर्ज
- कौंल महाराज मंदिर में प्रवेश करने की सजा के रूप में युवक Ayush को मिले गहरे जख्म, वीडियो देख आपकी भी कांप जाएगी रूह
- कौंल महाराज मंदिर में जाने पर युवक की पिटाई, गाली-गलौच व जातिसूचक शब्दों का किया प्रयोग
पुरोला/मुख्यधारा
उत्तराखंड में जब-तब धर्म के नाम पर अनुसूचित जाति के लोगों के साथ उत्पीडऩ के ज्वलंत प्रकरण सामने आते रहे हैं। ऐसे प्रकरणों से देवभूमि की छवि भी देश-दुनिया में खराब होती है। ऐसा ही दिल दहलाने वाला एक मामला इस बार उत्तरकाशी जनपद के मोरी विकासखंड से सामने आया है। जहां अनु.जाति के एक युवक को मंदिर में घुसने की सजा के रूप में गहरे जख्म दे दिए गए हैं। उसके साथ न सिर्फ मार-पिटाई की गई, बल्कि क्रूरता की सारी हदें पार करते हुए उसके शरीर पर जलते अंगारों से दाग दिया गया। इस मामले में पांच लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है।
ताजा मामला उत्तरकाशी जनपद के अंतर्गत मोरी सालरा गांव में कौंल महाराज मंदिर से जुड़ा हुआ है। जहां बीते सोमवार 9 जनवरी 2023 को अनुसूचित जाति के युवक आयुष के जबरन घुसने के मामले में गांव के ही कुछ युवकों ने उसकी जमकर पिटाई कर दी।
आयुष पुत्र अतर लाल पर उक्त युवकों द्वारा आरोप लगाया गया कि वह जबरन क्षेत्र के ईष्ट देवता कौंल महाराज के मंदिर में घुसा। जिस पर गांव के ही कुछ युवकों ने आयुष की जमकर पिटाई कर दी।
घटना का पता चलने पर उसी दिन आयुष के परिजन शिकायत लेकर थाना मोरी के निकले, किंतु रास्ते में ही उनसे समझौते का प्रयास किया गया। तीन बाद बुधवार को पीडि़त आयुष के पिता अतर लाल ने थाना मोरी में तहरीर देकर गांव के पांच लोगोंं भज्यान सिंह, चैन सिंह, जयवीर सिंह, ईश्वर सिंह व आशीष सिंह पर मारपीट, गाली गलौज, जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल करने का आरोप लगाया।
इस संबंध में उत्तराखंड एससी/एसटी इंप्लायस फेडरेशन के गढवाल मंडल के अध्यक्ष इंजीनियर सी.एल. भारती कहते हैं कि जनपद उत्तरकाशी के विकासखंड मोरी के ग्राम मैनौल (सालरा) में आयुष पुत्र अत्तर लाल ने 9-1-2023 क़ो स्थानीय मंदिर सालरा में देव दर्शन करने के लिए जैसे ही मंदिर में प्रवेश किया, वहां पर सामान्य वर्ग के पांच लोगों ने आयुष को मंदिर में बंद कर दिया और जलती लकड़ी से उसे दागते रहे। पीडि़त के कपड़े फाड़े गए और पूरा शरीर आग से जलाने का प्रयास किया गया दिया। पीडि़त तड़पता रहा और बेहोश हो गया। आयुष क़ो मंदिर प्रांगण में लाकर जलाने की कोशिश भी की गई, किंतु पीडि़त घटना स्थल से भागने में सफल रहा।
सीएल भारती कहते हैं कि पीडि़त की ओर से इस संबंध में उनसे संपर्क किया गया। पीडि़त ने थाना मोरी में एफआईआर दी, किन्तु एफआईआर दर्ज न होने पर पीडि़त परिवार की ओर से मुझसे संपर्क किया गया। जिस पर 11 जनवरी को 1:30 बजे के करीब उन्होंने एसपी से संपर्क कर तहरीर दी। जिस पर एसपी ने तत्काल संज्ञान लेते हुए एसओ मोरी को एफआईआर दर्ज करने के आदेश दिए। जिसके बाद उक्त मामले में गत दिवस पांच लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवा दी गई है। जिन पर धारा 147, 323, 504, 506 एवं SC ST Act 3(1)(x) के तहत मुकदमा दर्ज कर दिया गया है। जिसकी जांच शुरू कर दी गई है।
इस संबंध में मोरी के थानाध्यक्ष मोहन सिंह कठैत ने बताया कि पीडि़त के परिजन अतर लाल की तहरीर पर उक्त पांच लोगों के खिलाफ मारपीट, जातिसूचक शब्दों से गाली गलौज करने के मामले में एससी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर दिया गया है। जिसके क्रम में पूछताछ चल रही है।
कुल मिलाकर देवभूमि उत्तराखंड के लिए 21वीं सदी में जातिवाद के नाम ऐसी घिनौनी हरकत शोभा नहीं देता है। वर्तमान में इस तरह की घटनाएं विकास की राह को आगे बढऩे की बजाय समाज को और पीछे धकेलने का काम कर रही हैं। बहरहाल, अब देखना यह होगा कि इस ज्वलंत प्रकरण में दोषियों पर क्या कड़ी कार्रवाई होती है, ताकि भविष्य में अन्यत्र इस तरह की घटना की पुनरावृत्ति न हो सके!
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