संसद (Parliament) में हंगामा करने पर विपक्ष के 15 सांसदों को पूरे शीतकालीन सत्र के लिए किया गया निलंबित, जारी किया प्रस्ताव
मुख्यधारा डेस्क
बुधवार को संसद में हुई सुरक्षा चूक मामले पर विपक्षी दलों ने राज्यसभा और लोकसभा में गुरुवार को जमकर हंगामा किया। विपक्ष द्वारा 13 दिसंबर की घटना पर केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से बयान देने की मांग की जा रही थी। इसके बाद विपक्षी सांसदों ने हंगामा करना शुरू कर दिया। लोकसभा से 14, जबकि राज्यसभा से 1 सांसद को शेष सत्र से निलंबित किया गया। सदन के नेता पीयूष गोयल ने इस संबंध में प्रस्ताव पेश किया जिसे राज्यसभा ने मंजूरी दे दी।
निलंबित किए गए सांसदों में पांच कांग्रेस के भी शामिल हैं। सदन की कार्यवाही में बाधा डालने के आरोप में कांग्रेस के पांच सांसदों को लोकसभा से निलंबित कर दिया गया है।
इस बीच लोकसभा स्पीकर ने हंगामा करने के आरोप में कांग्रेस सदस्यों टी एन प्रतापन, हिबी इडेन, जोतिमणि, रम्या हरिदास और डीन कुरियाकोस, बेनी बेहनन (कांग्रेस), मोहम्मद जावेद (कांग्रेस), पी आर नटराजन (सीपीआईएम), कनिमोझी (डीएमके), वीके श्रीकंदन (कांग्रेस), के सुब्रमण्यम, एसआर पार्थिबन (डीएमके), एस वेंकटेशन (सीपीआईएम) और मनिकम टैगोर (कांग्रेस) को शीतकालीन सत्र की बाकी बचे समय से निलंबित कर दिया है।
इससे पहले राज्यसभा से तृणमूल कांग्रेस सांसद डेरेक ओब्रायन (Derek o’brien) को सस्पेंड कर दिया गया है। उनके निलंबन को लेकर विपक्षी दलों के सांसदों ने राज्यसभा में जोरदार हंगामा किया। इसके बाद, राज्यसभा की कार्यवाही 3 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई। इसके बाद फिर 4 बजे तक के लिए सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई।संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने आज लोकसभा में कहा कि, ‘हम सब सहमत हैं कि 13 दिसंबर की दुर्भाग्यपूर्ण घटना लोकसभा सदस्यों की सुरक्षा में गंभीर चूक थी।
उन्होंने आगे कहा, इस मामले में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला के निर्देश पर उच्च स्तरीय जांच शुरू हो चुकी है। उन्होंने कहा, इस मुद्दे पर किसी भी सदस्य से राजनीति की अपेक्षा नहीं की जाती, हमें दलगत राजनीति से ऊपर उठकर काम करना होगा।
जोशी ने कहा, संसद में सुरक्षा में चूक की इस तरह की घटनाएं पहले भी होती रही हैं। उस समय के लोकसभा अध्यक्षों के निर्देशानुसार कार्यवाही चलाई जाती रही है। 15 सांसदों को सदन से निलंबित किए जाने पर जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजीव रंजन ललन सिंह ने कहा, सरकार अपनी नाकामी को छुपाने के लिए विपक्ष में भय पैदा करना चाहती है, भय पैदा करने से शासन नहीं होता है। विपक्षी सांसद मांग कर रहे हैं कि कल हुई सुरक्षा में चूक पर गृहमंत्री बयान दें तो इसमें गलत क्या है? गृह मंत्री को आकर बयान देना चाहिए, वे देश के गृह मंत्री हैं, सुरक्षा की जिम्मेदारी उनकी हैं।