Weather alert: उत्तराखंड में अगले पांच दिन बारिश व बर्फवारी की चेतावनी
देहरादून/मुख्यधारा
उत्तराखंड में अगले पांच दिनों के लिए मौसम विभाग ने बारिश व बर्फवारी की चेतावनी जारी की है। इसके अलावा राज्य के जनपदों में कहीं-कहीं गर्जन के साथ बिजली चमकने व ओलावृष्टि होने की भी संभावना जताई गई है।
मौसम विभाग की सटीक भविष्यवाणी के क्रम में प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में शुक्रवार शाम से ही हल्की बारिश शुरू हो गई है। जो रुक-रुक रात्रिभर होती रही। इसके अलाव आज सुबह सुबह ही प्रदेश के कई हिस्सों में रुक-रुक कर हल्की बारिश हो रही है, जबकि ऊंचाई वाले हिस्सों में बर्फ पड़ने की सूचना है।
इसके साथ ही प्रदेश में एक बार फिर से ठंड लौट आई है व लोगों के संदूकों में बंद हो चुके गर्म कपड़े एक बार फिर से बाहर निकल गए हैं।
ऐसा रहेगा अगले पांच दिन मौसम
18 मार्च 2023
उत्तराखंड राज्य के जनपदों के अनेक स्थानों में हल्की से मध्यम वर्षा / गर्जन के साथ वर्षा बर्फबारी हो सकती हैं। 3500 मीटर व उससे अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी होने की संभावना है।
19 मार्च 2023
उत्तराखंड राज्य के गढ़वाल क्षेत्र में कुछ स्थानों में तथा कुमाऊं क्षेत्र में कहीं-कहीं हल्की से मध्यम वर्षा गर्जन के साथ वर्षा बर्फबारी हो सकती है। 3000 मीटर व उससे अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी होने की संभावना हैं।
20 मार्च 2023
उत्तराखंड राज्य के जनपदों के अधिकांश स्थानों में हल्की से मध्यम वर्षा / गर्जन के साथ वर्षा बर्फबारी हो सकती है 3000 मीटर व उससे अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी होने की संभावना है ।
21 मार्च 2023
उत्तराखंड राज्य के कुमाऊं मंडल के जनपदों के अधिकांश स्थानों तथा गढ़वाल मंडल के जनपदों के अनेक स्थानों में हल्की से मध्यम वर्षा / गर्जन के साथ वर्षा/ बर्फ़बारी हो सकती है । 3000 मीटर व उससे अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी होने की संभावना है।
22 मार्च 2023
उत्तराखंड राज्य के पर्वतीय क्षेत्रों में कहीं-कहीं बहुत हल्की से हल्की वर्षा गर्जन के साथ वर्षा बर्फबारी हो सकती है। 3000 मीटर व उससे अधिक ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी होने की संभावना है।
मौसम विभाग ने गर्जन के दौरान बिजली का संचालन करने वाली सभी वस्तुओं से दूर रहने की अपील की है। किसान भाईयों को गर्जन / ओलावृष्टि के दौरान जानवरों को बाहर न बांधने को कहा गया है। कटी हुई उपज (यदि खेत में हो) को सुरक्षित स्थान पर रखने व पेड़ों को ओलों से बचाने के लिए ओलों के जाल का प्रयोग करने का सुझाव दिया है।