विवाद : शाहरुख खान और दीपिका की फिल्म पठान (Pathan) पर सेंसर बोर्ड ने आपत्तिजनक सीन पर चलाई कैंची
टीजर रिलीज पर हुआ था विवाद
मुख्यधारा डेस्क
इसी महीने 25 जनवरी को रिलीज होने वाली शाहरुख खान और दीपिका पादुकोण की फिल्म पठान को लेकर सेंसर बोर्ड ने कई आपत्तिजनक सीनो पर कैंची चलाई है। बता दें कि पिछले महीने पठान का टीजर रिलीज होते ही यह फिल्म पूरे देश भर में विवादों में आ गई थी। मध्य प्रदेश उत्तर प्रदेश उत्तराखंड दिल्ली समेत कई राज्यों में अभिनेत्री दीपिका पादुकोण के भगवा ड्रेस पहनकर बेशर्म रंग गाने पर कड़ा विरोध किया गया था। हिंदू संगठनों ने सड़कों पर उतर कर फिल्म फिल्म के विरोध में प्रदर्शन किया था।
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इसके साथ सोशल मीडिया पर इस फिल्म के बायकॉट का भी ट्रेंड चलाया हुआ है। तभी से अटकलें लग रही थी कि पठान फिल्में सेंसर बोर्ड कैंची चला सकता है। अब सेंट्रल बोर्ड ऑफ फिल्म सर्टिफिकेशन (सीबीएफसी) ने शाह रुख खान और दीपिका पादुकोण स्टारर फिल्म ‘पठान’ में कई बदलावों का सुझाव दिया था, अब फिल्म के कुछ डायलॉग और गाने में कुछ सीन्स को हटा दिया गया है।पठान में कुछ डायलॉग्स को सेंसर किया गया है। सीबीएफसी ने ‘पठान’ में 10 से अधिक कट लगाने के लिए कहा था।
बॉलीवुड हंगामा के मुताबिक, ‘रॉ’ शब्द की जगह ‘हमरे’, ‘लंगड़े लुल्ले’ की जगह ‘टूटे फूटे’, 13 जगहों से ‘पीएम’ की जगह ‘राष्ट्रपति या मंत्री’ और ‘पीएमओ’ शब्द हटा दिया गया है। ‘अशोक चक्र’ को ‘वीर पुरस्कार’, ‘पूर्व-केजीबी’ को ‘पूर्व-एसबीयू’ और ‘श्रीमती भारत माता’ को ‘हमारी भारत माता’ से बदल दिया गया।
रिपोर्ट में आगे कहा गया है कि स्कॉच शब्द को ‘ड्रिंक’ से बदल दिया गया था जबकि फिल्म में दिखाई देने वाले टेक्स्ट ‘ब्लैक प्रिजन, रूस’ को ‘ब्लैक प्रिजन’ से बदल दिया गया था। दीपिका पादुकोण के इस डांस सीन को हटाया। इन बदलावों के बाद, सीबीएफसी ने 2 जनवरी को पठान के निर्माताओं को सेंसर सर्टिफिकेट दिया है। फिल्म को यू/ए सर्टिफिकेट मिला है।
फिल्म के कट्स के बारे में बात करते हुए, सीबीएफसी के चेयरपर्सन प्रसून जोशी ने पीटीआई से कहा था, मुझे यह दोहराना चाहिए कि हमारी संस्कृति और आस्था गौरवशाली, जटिल और सूक्ष्म है, और हमें सावधान रहना होगा कि यह ट्रिविया द्वारा डिफाइन नहीं किया जाता है जो फोकस को रियल और सच से दूर ले जाता है। और जैसा कि मैंने पहले भी कहा है कि क्रिएटर्स और दर्शकों के बीच विश्वास की रक्षा करना सबसे महत्वपूर्ण है और क्रिएटर्स को इस दिशा में काम करते रहना चाहिए।